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अजीम की आई कॉल, परिवार में ईद जैसी खुशियां छाई

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मेरठ। हुमायूंनगर निवासी आईए खान के बेटे अजीम की पिछले तीन दिन से कोई लोकेशन नहीं मिल रही थी। मोबाइल ऑफ था। परिवार अजीम को लेकर चिंता में डूबा था। फोन नहीं मिलने के कारण बात नहीं हो रही थी। कान आवाज सुनने को तरस गए थे। आंखे अजीम के मोबाइल पर वीडियो कॉल पर दीदार के लिए तरस रहे थे।
बार-बार मोबाइल में अजीम की फोटो को देखकर अल्लाह तआला से पूरा परिवार उसकी सलामती के लिए और सकुशल मेरठ लौट आने के लिए दुआएं कर रहा था। आखिरकार अल्लाह तआला ने परिवार की दुआएं कूबल की। मंगलवार सुबह करीब सात बजे जैसे ही अजीम की कॉल पिता के फोन पर आई तो पूरा परिवार खुशियों से उछल पड़ा।
परिवार में छाई उदासी और चिंता के बादल छंट गए। अमन की सलामती और उसकी आवाज सुनने के बाद परिवार में खुशियां इस कदर नजर आई कि मानों ईद का चांद नजर आ गया हो। पूरे परिवार ने भारत सरकार से यूक्रेन में फंसे एक-एक भारतीय की सकुशल वापसी कराने की भी मांग की।

चार दिन पहले एक यूक्रेन में फंसे एक युवक ने वीडियो वायरल की थी। उसमें मेरठ के हुमायूंनगर निवासी अजीम भी दिखा था। इसके बाद से तीन दिन तक उससे परिवार का कोई संपर्क नहीं हुआ। मंगलवार को सुबह अजीम की कॉल आई तो पहले तो परिवार को यकीन नहीं हुआ कि अजीम से बात हो रही है। खैर, अल्लाह तआला का शुक्रिया अदा किया।
अजीम ने पिता, माता और बहनों से बात की। अपनी सलामती की खबर दी और कहा कि रोमानिया बॉर्डर क्रॉस करने वाले है। अब जल्द ही मेरठ लौट आएंगे। अजीम के पिता और माता, बहनों ने कहा कि अजीम का फोन आते ही चिंता में डूबे परिवार के चेहरे में खुशियां आई। पूरे परिवार ने भारत सरकार से मांग की है कि वहां यूक्रेन में फंसे सभी भारतीयों की सलामती के साथ देश वापसी कराएं।
शारिम ने किया रोमानिया बॉर्डर क्रॉस, कैंप में पहुंचा
मेरठ के ईरा गार्डन निवासी शारिम ने रोमानिया बॉर्डर क्रॉस कर लिया। वह अब फ्लाइट से दिल्ली आएगा। परिवार के सदस्य उसके इंतजार में पलक-पावड़े बिछाए हुए है।
ईरा गार्डन निवासी हाजी मोहम्मद हारून ने बताया कि उनके बेटे ने रोमानिया बॉर्डर क्रॉस कर लिया है। फिलहाल शिविर में बैठाया हुआ है। शारिम का पासपोर्ट नंबर और नाम आदि विवरण वहां शिविर में दर्ज किया गया है। शारिम की फ्लाइट को लेकर अभी वहां कुछ स्थिति साफ नहीं की, लेकिन अब शारिम व अन्य उसके साथी सुकून महसूस कर रहे है। इसी के साथ यहां परिवार ने भी राहत की सांस ली। शामिर के परिजनों को उम्मीद बंधी है कि अब जल्द ही वह सलामती के साथ लौट आएंगे।

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Santram Pandey

पत्रकारिता के 40 बसंत पार कर चुके संतराम पांडे, पूर्णकालिक पत्रकार हैं और खाटी पत्रकारिता के जीवंत उदाहरण स्वरूप अंकुरित प्रतिभाओं को सहयोग प्रदान कर रहे हैं। वर्तमान में ई-रेडियो इंडिया के वरिष्ठ संपादक हैं।

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