Muzaffarnagar News: आखिर क्यों आला अधिकारियों के कानों पर जू रेंगने को तैयार नही है कि ग्राम सुजड़ू मोहल्ला कुँगर पट्टी का यह आम रास्ता और यह रास्ता राणा चौक पुलिस चौकी,M. A कॉन्वेंट स्कूल, ग्राम सुजड़ू। कुँगर पट्टी व दीन मोहम्मद मोहल्ले से होते हुए खालापार शहर, को निकल जाता है।
इस रास्ते से स्कूल के बच्चे, महिलाएं, किसान व शहरी, बाहरी व्यक्तियों का इसी रास्ते से आना जाना लगा रहता है औऱ इस रास्ते पर कई धार्मिक स्थल, मन्दिर- मस्जिद व बच्चो के स्कूल बने हुए है। यहां के रास्तो पर गंदगी के अंबार लगे हुए हैं। राहगीरों का निकलना दुश्वार है। संक्रामक बीमारियों के फैलने का खतरा बना हुआ है। पिछले कुछ दिनों पहले सरकार द्वारा सफाई अभियान चलाया गया था,सफाई अभियान को लेकर सरकार ने अपना कड़ा रुख अख्तियार किया था।
कुछ दिन पहले इस कुँगर पट्टी की खबर प्रकाशित हुई थी, खबर के प्रकाशित होने के चंद घंटे बाद ही ग्राम प्रधान द्वारा इस गंदगी की खबर को अपने संज्ञान में ले लिया गया,और विकास कार्य शुरू किया गया,लेकिन कुछ ग्रामीण वासियों ने ग्राम प्रधान के विकास कार्यों में बाधा डाल दी। जिससे विकास कार्य पूर्ण रूप से रुक गया। कुँगर पट्टी सुजड़ू में ग्रामीण वासियों के घर के पास से जो नाला होकर गुजरता है।
ग्रामीण वासी उसी नाले में कूड़ा कचरा, गोबर, कुट्टी, आदि सब उसी नाले में डाल देते हैं। जिससे वह सभी कूड़ा कचरा, उसी नाले में अटक जाता है ओर पूरे रास्ते पर पानी और कीचड़ जैसे हालात हो जाते है। जिससे स्कूल के बच्चे, महिलाएं किसान, बुजुर्ग, व शहरी बाहरी, व्यक्तियो का निकलना दुश्वार हो जाता है ग्राम सुजड़ू में ग्राम प्रधान द्वारा कहीं पर भी कूड़ेदान की व्यवस्था नहीं कराई गई है।
जिससे ग्रामीण वासी अपना कूड़ा कचरा,कूड़ेदान में डाल सके। ग्राम प्रधान द्वारा कूड़ेदान की व्यवस्था ना होने की वजह से ग्रामीण वासी अपना सभी कूड़ा कचरा नालियों व नालों में डाल देते हैं। फोटो के माध्यम से देखकर अंदाजा लगा सकते हैं कि किस तरह का गंदागी इस कुँगर पट्टी मे फैली है। फोटो के माध्यम से यहां की जांच भी करवा सकते हैं।
लिहाजा आप से गुजारिश है कि कुँगर पट्टी ग्राम सुजड़ू के इस गंदे मामले को संज्ञान में लेकर ग्रामीण वासियों पर जुर्माना रखकर इस गंन्दगी की रोकथाम की जाएं। यहाँ कुँगर पट्टी में नालों के समीप 2 से 3 डॉक्टरों के अपने क्लीनिक भी है। यहाँ डॉक्टरों के क्लीनिक पर हर रोज बुखार, टाइफाइड, मलेरिया, उल्टी दस्त, जैसी संक्रामक बीमारियों के मरीजों का आना जाना लगा रहता है। यहां की गंन्दगियो से मरीजों का निकलना दुश्वार हो गया है।
आए दिन नई-नई बीमारियों का खतरा बढ़ा रहता है और अभी भी पूरी तरह से कोरोना माहमारी जैसी बड़ी बीमारी पूरी तरह से खत्म नहीं हुई औऱ तीसरी लहर का आना अभी बाकी है। अब देखना यह है कि शासन-प्रशासन द्वारा उक्त मामले में क्या कार्रवाई की जाती है?