Sushant Mishra IPL: आईपीएल 2024 ऑक्शन ने कई युवाओं की किस्मत चमका दी। इस लिस्ट में सुशांत मिश्रा का नाम भी है। सुशांत दरभंगा के अलीनगर प्रखंड क्षेत्र के लहटा तुमौल पंचायत के रहने वाले हैं। टीवी पर चल रहे ऑक्शन में जैसे ही बेटे का नाम आया और गुजरात टाइटंस ने खरीदा तो उनके पिता समीर कुमार मिश्रा और मां ममता की आंखों में खुशी के आंसू थे। बेटा अब आईपीएल में गुजरात टाइटंस के लिए खेलेगा। यह वही फ्रेंचाइजी है, जिसने अपने पहले सीजन में खिताब जीता और दूसरे सीजन में रनर अप रही।
गांव में हर किसी को था सुशांत मिश्रा के ऑक्शन का इंतजार
2.20 करोड़ रुपये में बिके सुशांत की बेस प्राइस 20 लाख रुपये थे। वह अनकैप्ड प्लेयर्स में सबसे महंगे बिकने वालों में शामिल हैं। यह बताना जरूरी है कि युवा सुशांत भले ही रहने वाले बिहार से हैं, लेकिन डोमेस्टिक क्रिकेट में झारखंड का झंडा बुलंद करते हैं। सुशांत बाएं हाथ का बल्लेबाज के साथ तेज गेंदबाज भी है। उनके गांव में हर कोई उन्हीं की बात कर रहा है। हर किसी को अपने लाल के बिकने की उम्मीद थी और इसी वजह से हर घर में लोग टकटकी लगाए ऑक्शन में सुशांत का नाम आने का इंतजार कर रहे थे।
धोनी की टीम के लिए डोमेस्टिक क्रिकेट खेलते हैं सुशांत मिश्रा
उनके गांव के मृत्युंजय मृणाल ने बताया कि सुशांत माता पिता का इकलौता संतान हैं। सुशांत के पिता समीर मिश्रा झारखंड के रांची में प्राइवेट कम्पनी में नौकरी कर अपना जीवन यापन करते हैं। सुशांत भी वहीं रहकर पढ़े। यही वजह है कि वह महेंद्र सिंह धोनी की डोमेस्टिक टीम झारखंड से क्रिकेट खेलते हैं। सुशांत के चयन 2022 में भी आईपीएल में सनराइजर्स हैदराबाद के लिए चयन हुआ था।
धोनी की तरह ही रेलवे में करते हैं नौकरी, परिवार क्रिकेट के खिलाफ था
उल्लेखनीय है कि वह अंडर 19 में भारतीय टीम का भी हिस्सा रह चुके है। वह झारखंड से 2022 के रणजी ट्रॉफी में शानदार प्रदर्शन किया था, जबकि उन्होंने डेब्यू किया था। सुशांत अभी झारखंड में रेलवे में नौकरी करते हैं। सुशांत के दादा कृष्णदेव मिश्रा और दादी किशोरी देवी आईपीएल में पोते के चयन होने से काफी खुश है। उन्होंने बताया कि सुशांत को बचपन से क्रिकेट खेलने का शौक था। उसे पढ़ाई के दौरान क्रिकेट खेलने डांट भी पड़ती थी, लेकिन वह चोरी-छिपे क्रिकेट खेलने भाग ही जाता था। वह अब अपना सपना पूरा कर रहा है।
पिता सेल्समैन हैं, वेटनरी कंपनी में करते हैं काम:
उन्होंने बताया- सुशांत पढ़ाई में भी अच्छे थे। हमेशा वह परीक्षा में अच्छे नंबर लाया करते थे, लेकिन क्रिकेट से कभी प्यार नहीं छूटा। हम लोगों के विरोध के वावजूद उन्होंने क्रिकेट की कोचिंग की और आज बड़ा मुकाम हासिल किया। हमें उन पर गर्व है। सुशांत की दादी किशोरी देवी कहा कि सुशांत का जन्म 23 नवंबर 2000 को झारखंड के रांची में हुआ था। उसका बचपन दरभंगा लहटा तूमौल में ही बीता। वह पांच वर्ष की उम्र तक यहां रहे। उन्होंने बताया कि उनका पुत्र समीर मिश्रा रांची में एक वेटनरी दवा बनाने वाली कंपनी में सेल्समैन का काम करते हैं।